भूगोल, ब्रह्मांड की रचना और बिग बैंग थ्योरी क्या है
भूगोल की प्रकृति एवं विषय क्षेत्र
भूगोल |
👉 भूगोल के नामकरण एवं इस विषय को प्राथमिक स्तर पर व्यवस्थित स्वरूप प्रदान करने का श्रेय यूनान के निवासियों को जाता है |
👉 हिकेटियस ने अपनी पुस्तक 'जस पीरियोडस' अर्थात 'पृथ्वी का वर्णन' में सर्वप्रथम भौगोलिक तत्वों के क्रमबद्ध समावेश किया |
👉 अध्ययन के लिए स्वतंत्र विषय के रूप में भूगोल को 19वीं शताब्दी में ही मान्यता मिली |
👉 20 वीं शताब्दी के आरंभ में भूगोल मनुष्य और पर्यावरण के पारस्परिक संबंधो के अध्ययन के रूप में विकसित हुआ | इसकी दो विचारधाराएं थी -
1. संभवाद : इसके अनुसार मनुष्य अपने पर्यावरण में परिवर्तन करने में समर्थ है तथा वह प्रकृतिप्रदत्त अनेक संभावनाओं को अपनी इच्छा के अनुसार उपयोग कर सकता है | इस विचारधारा के समर्थक है भूगोलवेत्ता- वाइडल-डी-ला बलाश और फैब्रे |
2. निश्चयवाद: इसके अनुसार मनुष्य को स्वेच्छापूर्वक कुछ करने की स्वतंत्रता कम है | इस विचारधारा के प्रमुख समर्थक है - भूगोलवेत्ता - रिटर, रेटजेल (नवीन निश्चयवाद का संस्थापक), एलन सेम्पुल और हटिगटन |
1. भूगोल का जनक - हिकेटियस
2. वर्तमान भूगोल का जनक - अलेक्जेंडर वॉन हम्बोल्ट
3. व्यवस्थित भूगोल का जनक - इरैटॉस्थनीज
4. ज्योग्रैफिका शब्द का प्रथम प्रस्तावक - इरैटॉस्थनीज
5. भौतिक भूगोल का जनक - पोलीडोनियम
6. सांस्कृतिक भूगोल का जनक - कार्ल - ओ - सावर
7. गणितीय भूगोल के संस्थापक - थेल्स व एनेक्सीमींडर
8. विश्व ग्लोब का निर्माता - मार्टिन वैहम
9. विश्व मानचित्र के निर्माणकर्ता - अनेग्जी मेंडर
10. भौगोलिक विश्वकोश का रचनाकार - स्ट्राबो
भूगोल की कुछ परिभाषाएं :(Some definition of geography in Hindi)
1. ''भूगोल एक ऐसा स्वतंत्र विषय है जिसका उदेश्य लोगों को विश्व , आकाशीय पिंडो, स्थल, महासागरों , जीव -जंतुओं, वनस्पति, फलों तथा भू-धरातल के क्षेत्रों में देखी जाने वाली प्रत्येक एनी वस्तु का ज्ञान प्राप्त कराना है | -- स्ट्रैबो
2. ''भूगोल पृथ्वी की झलक को स्वर्ग में देखने वाला आभामय विज्ञान है |'' -- कलैडियस, टॉलमी
3. ''भूगोल वह विज्ञान है , जिसमे पृथ्वी को स्वतंत्र ग्रह के रूप में मान्यता देते हुए, उसके समस्त लक्षणों, घटनाओं एवं उसके अन्त:सम्बन्ध का अध्ययन किया जाता है |'' -- कार्ल रिटर
4. ''भूगोल में पृथ्वी के उस भाग का अध्ययन किया जाता है , जो मानव के रहने का स्थान है |'' --- ऑर्थर होम्स
थ्योरी ऑफ़ द ओरिजिन ऑफ़ द यूनिवर्स
1. ब्रह्माण्ड (Know the universe)
👉 अस्तित्वमान द्रव्य एवं उर्जा के सम्मिलित रूप को ब्रह्मांड कहते हैं |
👉 दुसरे शब्दों में सूक्ष्मतम अणुओं से लेकर महाकाय आकाशगंगाओं (Glaxies) तक के सम्मिलित स्वरूप को ब्रह्मांड कहा जाता है |
#creation of the universe
ब्रह्मांड की उत्पति से संबंधित प्रमुख सिद्धांत निम्न है - (Theories of the origin of the universe)
1. महाविस्फोट सिद्धांत (Big-Bang-Theory): ऐब जॉर्ज लैमेंतेयर
2. 'साम्यावस्था' या 'सतत सृष्टि सिद्धांत' या स्थिर अवस्था संकल्पना' (Steady State Theory) : थॉमस गोल्ड एवं हर्मन बॉडी
3. दोलनसिद्धांत (Plusating Universe Therory): डॉ. एलन संडेजा
4. स्फीति सिद्धांत (inflationary Theroy): अलेन गुथ
"ब्रह्मांड की उत्पति के संबंध में महाविस्फोट सिद्धांत (Big-Bang-Theory) सर्वाधिक मान्य सिद्धांत है | इसका प्रतिपादन बेल्जियम के खगोलज्ञ एवं पादरी 'ऐब जॉर्ज लैमेंतेयर' ने किया था | बाद में रॉबर्ट बेगोनेर' ने इस सिद्धांत की व्याख्या की |"
महाविस्फोट सिद्धांत के अनुसार - (According to the Big Bang theory)
बिग बैंग थ्योरी |
1. आरम्भ में वे सभी पदार्थ, जिनसे ब्रह्माण्ड बना है, अति छोटे गोल्ड (एकाकी परमाणु) के रूप में एक ही स्थान पर स्थित था, जिनका आयतन अत्यधिक सूक्ष्म एवं तापमान तथा घनत्व अनंत था |
2. अत्यधिक सकेन्द्रण के कारण बिन्दु का आकस्मिक विस्फोट हुआ, जिसे महाविस्फोट ब्रह्मांडीय विस्फोट (Big-Bang) कहा गया | इस अचानक विस्फोट से पदार्थों का विखराव हुआ, जिससे सामान्य पदार्थ निर्मित हुए | इसके अलगाव के कारण काले पदार्थ बने, जिनके समूहन से अनेक ब्रह्मांडीय पिंडो का सृजन हुआ | वैज्ञानिकों का विश्वास है की महाविस्फोट (Big-Bang) की घटना आज से 13.7 अरब वर्ष पहले हुई थी | महाविस्फोट के लगभग 10.5 अरब वर्ष पश्चात यानी आज से 4.5 अरब वर्ष पूर्व सौरमंडल का विकास हुआ जिसमें ग्रहों तथा उपग्रहों का निर्माण हुआ | इस प्रकार 'बिग-बैंग' परिघटना से ब्रह्मांड की उत्पति हुई और तभी से उसमें निरंतर विस्तार जारी है | इसके साक्ष्य के रूप में आकाशगंगाओं के बीच बढती दूरी का साक्ष्य दिया जाता है | NASA ने 2001 ई. में MAP (Microwave Anisotrophy Probe) नामक अनुसंधान में इसकी पुष्टि की |
"ब्रह्मांड के निरंतर विस्तारण के साक्ष्य जुटाने में एडबिन हब्बल का योगदान उल्लेखनीय है | ब्रह्मांड के निरंतर विस्तारण के साक्ष्य के रूप में अंतरिक्ष के सूक्ष्म तरंगो की उपस्थिति के पता चलना, अन्तरिक्ष में 'रेडशिफ्ट' परिघटना का अवलोकन तथा आधुनिक अध्ययनों में सुपरनोवा का अंतरिक्ष में विस्फोट होना भी ब्रह्मांड के विस्तार के साक्ष्य रूप में माना जाता रहा है |"
नोट: नासा (NASA) द्वारा 30 जून 2001 ई. को डेविड विलकिंसन के नेतृत्व में बिग-बैंग की पुष्टि हेतु मैप परियोजना (Microwave Anisotropy Probe-MAP) का शुभारंभ किया गया | मैप एक खोजी उपग्रह है | इससे प्राप्त चित्रों से बिग-बैंग की पुष्टि होती है | 11 फरवरी, 2013 ई. को इस आधार पर नासा ने ब्रह्माण्ड की आयु 13.7 अरब वर्ष निर्धारित करने की घोषणा की | डेविड विल की सितम्बर, 2002 ई. के निधन के पश्चात् उनके सम्मान मेंमैप उपग्रह का नाम 11 फरवरी, 2003, को WMAP (Wilkinson Microwave Anisotropy Probe) रखा गया |
ब्रह्मांड के रहस्यों को जानने के लिए 30 मार्च, 2010 ई. को यूरोपियन सेंटर फॉर न्यूक्लियर रिसर्च (CERN) ने जेनेवा में पृथ्वी की सतह से 50 से 175 मीटर नीचे 27.36 किमी लम्बे सुरंग में लार्ज हैड्रन कोलाइजर (LHC) नामक महाप्रयोग सफलतापूर्वक किया गया | (सितम्बर, 2008 ई. में यह महाप्रयोग असफल रहा था|) इसमें प्रोटान बीमों को लगभग प्रकाश की गति से टकराया गया तथा 'हिग्स बोसान' के निर्माण का प्रयास किया गया | माना जाता है कि 'गॉड पार्टिकल' के नाम से जाना जाने वाला 'हिग्स वोसान' में ही ब्रह्मांड के रहस्य छिपे हैं, क्योंकि यह सबसे बेसिक यूनिट माना जाता है | CERN ने 4 जुलाई, 2012 ई. को हिग्स बोसान से मिलता-जुलता 'सब-एटोमिक' पार्टिकल की खोज करने में सफलता हासिल की है | इससे ब्रह्माण्ड के रहस्यों को जानने के विषय में महत्वपूर्ण उपलब्धि माना जाता रहा है |
नोट: ब्रिटिश वैज्ञानिक हिग्स ने 1964 ई. में कास्मोलॉजी समझने हेतु 'गॉड पार्टिकल' परमाण्विक अवधारणा को पेश किया था जो भारतीय वैज्ञानिक सत्येन्द्रनाथ बोस के 'बोसन थ्योरी' पर आधारित थी |
#diameter of the universe
👉ब्रह्मांड का व्यास 10^8 प्रकाशवर्ष है | ब्रह्मांड का अनुमानत: 100 अरब मंदाकिनी (Galaxy) है | प्रत्येक मंदाकिनी के अनुमानत: 100 अरब तारे होते हैं |
#what is milky way
👉''मंदाकिनी'': तारों का ऐसा समूह, जो धुंधला-सा दिखाई पड़ता है तथा जो तारा-निर्माण प्रक्रिया की शुरुआत का गैसपुंज है, मंदाकिनी (Galaxy) कहलाता है " हमारी पृथ्वी की अपनी एक मंदाकिनी है , जिसे 'दुग्धमेखला' या आकाशगंगा (Milky Way) कहते हैं | अब तक ज्ञात इस मन्दाकिनी का 80% भाग सर्पीला (spiral) है | इस मंदाकिनी को सबसे पहले गैलीलियों ने देखा था |
👉आकाशगंगा की सबसे नजदीकी मंदाकिनी को 'देवयानी' (Andromeda) नाम दिया गया है |
👉नवीनतम ज्ञात मंदाकिनी (Galaxy) हैं - ड्वार्फ मंदाकिनी
👉'ऑरियन नेबुला' हमारी आकाशगंगा के सबसे शीतल और चमकीले तारों का समूह है |
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